पहाड़ी ककड़ी की दावत के साथ हाजिर होंगे पूर्व सीएम हरीश रावत
विधायकों की खरीद फरोख्त के स्टिंग को लेकर सीबीआइ जांच का सामना कर रहे कांग्रेसी दिग्गज और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत अब एक बार फिर पहाड़ी ककड़ी की दावत के साथ हाजिर होने जा रहे हैं। वह 28 सितंबर को देहरादून में यह दावत आयोजित कर रहे हैं।
सियासी मोर्चे पर भले ही हरीश रावत पिछले तीन सालों से कोई चमत्कार नहीं दिखा पा रहे हैं, लेकिन इसके बावजूद उनकी सक्रियता में कोई कमी नहीं आई है। प्रदेश कांग्रेस में इस दौरान मतभेदों की तमाम चर्चाओं के बावजूद पिछले दिनों स्टिंग प्रकरण में नैनीताल हाईकोर्ट में मामले की सुनवाई से पहले पार्टी पूरी तरह उनके पीछे खड़ी नजर आई।
सियासत से अलग, हरीश रावत अपनी तरह-तरह की दावतों के लिए भी अकसर चर्चा में रहते हैं। वह कभी आम की दावत, कभी काफल और कभी पहाड़ी व्यंजनों की दावत आयोजित कर अपने समर्थकों के बीच अपनी मौजूदगी दर्ज कराते रहे हैं। इस तरह की दावतों को पर्वतीय क्षेत्रों के मुद्दों को लेकर हरदा की अलहदा सियासत के रूप में भी देखा जाता रहा है।
आगामी शनिवार को हरीश रावत पहाड़ी ककड़ी (खीरा) की दावत आयोजित कर रहे हैं। इसका जिक्र उन्होंने सोशल मीडिया में पोस्ट कर भी किया है। रावत के मुताबिक पहाड़ी ककड़ी और रायता के अलावा इसमें मेहमानों का परिचय उच्च हिमालयी क्षेत्र में पाई जाने वाली गेठी (एक तरह का कंद) से भी कराया जाएगा। इन्हें उबाल कर खाया जाता है। गेठी औषधीय गुणों से भरपूर होती है और इससे मधुमेह को नियंत्रण में रखने में मदद मिलती है।