केंद्र सरकार ने SC में वायु प्रदूषण पर सुनवाई के दौरान वर्क फ्रॉम होम से किया मना
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट में वायु प्रदूषण पर सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने अपने कर्मचारियों को घर से काम करने पर असहमति जताई है। इसके साथ ही हरियाणा और पंजाब ने शीर्ष अदालत को प्रदूषण के खिलाफ किए जा रहे कार्यों के बारे में जानकारी दी है।
दिल्ली में वायु प्रदूषण के मामले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से पहले हरियाणा सरकार ने शीर्ष अदालत में हलफनामा दाखिल किया है। हरियाणा सरकार ने कहा कि प्रदूषण को रोकने के लिए अन्य उपायों के साथ पूरे राज्य में पराली जलाने को प्रतिबंधित किया जाएगा।
हरियाणा सरकार ने बताया कि 30 नवंबर तक CNG/PNG को छोड़ कर अन्य ईंधनों से चलने वाली इंडस्ट्री को बंद किया गया है। इसके साथ ही पानीपत में दो थर्मल पावर प्लांट को 30 नवंबर तक बंद किया गया है।
वहीं पंजाब सरकार ने बैठक में तय किया कि प्रदूषण को रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट के आदेश की कॉपी किसानों के व्हाट्सएप ग्रुप में भेजा जाएगा। पंजाब सरकार ने स्पष्ट किया कि पराली जलाने की समस्या को खत्म करने के लिए उसे केंद्र सरकार से वित्तीय सहायता की आवश्यकता है।
केंद्र ने वर्क फ्रॉम होम से किया मना
वहीं केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को सुनवाई से पहले बताया कि केंद्र अपने कर्मचारियों के वर्क फ्रॉम होम करने के पक्ष में नहीं। केंद्र ने कहा कोविड के चलते पहले की कामकाज प्रभावित हुआ है और वर्क फ्रॉम होम से ज्यादा फायदा नहीं होगा, इसलिए केंद्र ने अपने कर्मचारियों को कार पूल करने की एडवाजयरी जारी की है।
पिछली सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र और राज्यों को अपने कर्मचारियों के लिए कम से कम एक हफ्ते के लिए वर्क फ्रॉम होम पर विचार करने को कहा था।