SSB ने मानव तस्करी को लेकर किया सनसनीखेज खुलासा, कुवैत में भारतीय महिलाएं
कोच्ची: केरल में राज्य की विशेष शाखा (SSB) ने मानव तस्करी रैकेट को लेकर एक सनसनीखेज खुलासा किया है। उन्होंने अपनी जाँच में पाया है कि खाड़ी देशों के अरब परिवारों में अभी भी 100 से ज्यादा महिलाएँ फँसी हुई हैं। हाल ही में मानव तस्करी रैकेट द्वारा कुवैत के परिवारों को बेच दी गई, केरल की तीन महिलाओं को रेस्क्यू करने के बाद इस मामले की छानबीन तेज कर दी गई है।
जाँच कर रहे अधिकारियों को पता चला है कि रैकेट ने कुवैत में बेबी सिटर और अस्पताल के स्टाफ की नौकरी के लिए अर्जियां मांगी थीं। केरल में नौकरी के पोस्टर चस्पा करने के बाद दिसंबर 2021 और फरवरी 2022 के बीच कई महिलाओं को भर्ती किया गया। हालाँकि, नौकरी की चाह में झूठे दावों की शिकार हुई महिलाओं के बारे में अधिक जानकारी नहीं मिल सकी है। इस मामले में पुलिस को दो और महिलाओं का पता लगाने में कामयाबी मिली है। इन दोनों महिलाओं में से एक कोल्लम और दूसरी एर्नाकुलम की निवासी है। ये कुवैत में मानव तस्करी रैकेट चलाने वालों के चंगुल से किसी तरह भाग निकली और वहाँ स्थित मलयाली संगठन की सहायता से अपने घर वापस लौट आई हैं। दोनों महिलाओं ने मीडिया को बताया है कि मानव-तस्करी रैकेट ने कुवैत पहुँचने पर उनके पासपोर्ट छीन लिए थे।
उनमें से एक पीड़िता ने बताया कि, ‘वहाँ पहुँचने के बाद हमें पता चला कि वे हमें अरब परिवारों के घर की नौकरानी बनाने के लिए यहाँ लाया गया था।’ उन्होंने कहा कि, ‘जब हमने इसका विरोध किया, तो उन्होंने हमें फर्जी मामलों में फँसाकर जेल पहुंचाने की धमकी दी। हम इससे बहुत डर गए थे। यह भी नहीं जानते थे कि इस अंजान जगह पर क्या करें।’ पीड़िता ने बताया कि, ‘हमने वहाँ बहुत सी दूसरी महिलाओं को भी देखा, जिन्हें हमारी तरह ही झांसे में लेकर कुवैत लाया गया था। कुछ को तो रैकेट चलाने वालों से बहस भी कर रहीं थीं।’
वहीं, दूसरी महिला ने बताया कि उसे इस साल 5 फरवरी को दुबई के जरिए कुवैत लाया गया था। उसने उनका विरोध किया और वह 4 मार्च को वहाँ से लौटने में कामयाब रही। उन्होंने कहा कि, ‘वहाँ जीवन नरक बन गया था। मैंने इसका पुरजोर तरीके विरोध किया। मेरे जैसे कई लोग अभी भी वहां फँसे हुए हैं। कुवैत में एक मलयाली संगठन की सहायता से मैं भागने में सफल हुई।’