हरिद्वार में पंचायत चुनाव को लेकर कांग्रेस ने सरकार पर गड़बड़ी के आरोप लगाए
हरिद्वार में पंचायत चुनाव को लेकर कांग्रेस ने सरकार पर गड़बड़ी के आरोप लगाए हैं। जबकि बसपा विधायकों ने अपने नेतृत्व पर ही सवाल उठाए हैं। उन्होंने चुनाव में हार के लिए प्रदेश नेतृत्व को जिम्मेदार ठहराया है। हरिद्वार पंचायत चुनाव कांग्रेस ने नतीजों की हाईकोर्ट के सिटिंग जज की निगरानी में उच्च स्तरीय जांच की मांग की।
चुनाव परिणामों पर सवाल उठाते हुए कांग्रेस इस मुद्दे पर चुनाव आयोग को भी अर्जी देने जा रही है। झबरेड़ा विधायक वीरेंद्र जाति ने कहा कि भाजपा ने सत्ता बल के जरिए पारदर्शी चुनाव प्रक्रिया का गला घोंट दिया है। अफसरों से अपने इशारे पर काम करवाते हुए भाजपा ने तमाम जगह चुनाव परिणाम बदलवा दिए।
प्रत्याशियों पर दबाव बनाए गए कि वो भाजपा में शामिल हो वर्ना हारने को तैयार रहें। भाजपा और सरकारी मशीनरी द्वारा चुनाव में किए गए अनैतिक आचरण के पुख्ता सुबूत भी हैं। जाति ने कहा कि यदि न्यायिक निगरानी में दोबारा मतगणना हो जाए तो सच सामने आ सकता है।
भाजपा ने हरिद्वार पंचायत चुनाव में लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं को तार-तार कर दिया है। सत्ता और धन बल के प्रभाव से प्रत्याशियों को डराया-धमकाया गया। मनमाफिक नतीजों के लिए सरकारी मशीनरी का खुलकर दुरूपयोग किया गया।
बसपा विधायकों ने प्रदेश नेतृत्व पर उठाए सवाल
जिला पंचायत चुनाव में बसपा को मिली हार के बाद पार्टी के विधायकों ने प्रदेश नेतृत्व के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। परिणाम के लिए प्रदेश नेतृत्व को जिम्मेदार ठहराते हुए उनकी अनदेखी का आरोप लगाया। विधायक बोले, अगर संगठन को मजबूत करना है तो प्रदेश नेतृत्व को बदलना होगा।
चंद्रशेखर चौक स्थित कैंप कार्यालय पर लक्सर विधायक मोहम्मद शहजाद और मंगलौर विधायक सरवत करीम अंसारी ने संयुक्त पत्रकार वार्ता की। विधायक शहजाद ने कहा कि चुनाव में पार्टी की जो स्थिति हुई है उसके लिए प्रदेश नेतृत्व जिम्मेदार है।
चुनाव के लिए कमेटी बनाई जाती है। जिसमें संगठन के महत्वपूर्ण लोगों के साथ ही विधायकों को शामिल किया जाता है।
चुनाव की निष्पक्षता पर भी उठाए सवाल
विधायक शहजाद ने त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव परिणाम के बाद जगह-जगह हुए लाठी चार्ज की निंदा की। कहा कि कई जगह हुए हालात बुरे रहे हैं, इसमें निष्पक्षता का अभाव रहा। चुनाव की निष्पक्षता पर भी सवाल उठाए। नारसन,बाहदराबाद में लाठी का इस्तेमाल करने की निंदा की।
विधायकों ने पार्टी फोरम पर कभी अपनी बात नहीं रखी। सबकी राय से टिकट वितरित किए गए। सर्वसमाज के लोगों को टिकट दिए गए।