इस आर्टिकल में हम यही जानने की कोशिश करेंगे कि खून दान देने से शरीर को क्या लाभ होता है
दुनिया भर में हर साल 14 जून को वर्ल्ड ब्लड डोनर डे मनाया जाता है। इस दिन को पहली बार साल 2004 में विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO), इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ रेड क्रॉस और रेड क्रिसेंट सोसाइटीज, इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ ब्लड डोनर ऑर्गनाइजेशन (IFBDO) और इंटरनेशनल सोसाइटी ऑफ ब्लड ट्रांसफ्यूजन (ISBT) जैसे अंतरराष्ट्रीय संगठनों द्वारा मान्यता दी गई थी। इसका मकसद सुरक्षित रक्त और रक्त उत्पादों की जरूरतों के बारे में जागरूकता बढ़ाने और ब्लड डोनेट करने वालों के प्रति आभार व्यक्त करना है, जो स्वेच्छा से अपने खून जैसे अमूल्य चीज को दान देकर लोगों की जान बचाते हैं। इस आर्टिकल में हम यही जानने की कोशिश करेंगे कि खून दान देने से शरीर को क्या लाभ होता है।
ब्लड डोनेट से क्या फायदे हैं?
रक्तदान करने से शरीर को कई तरह के भावनात्मक और शारीरिक स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं। मेंटल हेल्थ फाउंडेशन की एक रिपोर्ट के अनुसार, दूसरों की मदद करने से:
- तनाव कम होता है
- भावनात्मक स्वास्थ्य में सुधार होता है
- ब्लड डोनेशन के दौरान फ्री चेकअप से शारीरिक लाभ होता है
- नेगेटिव भावनाओं से छुटकारा पाने में मदद मिलती है
- एक स्वस्थ हृदय और संवहनी प्रणाली
- अक्सर ब्लड डोनेट करने से ब्लड प्रेशर और दिल के दौरे का जोखिम कम हो सकता है
ब्लड डोनेशन के दौरान किन बातों का ध्यान रखें?अगर आप ब्लड डोनेट करने के बारे में सोच रहे हैं, तो इन टिप्स को फॉलो करें-
खूब सारा पानी पिएं: हाइड्रेटेड रहने से नसों को ढूंढना आसान हो जाता है और खून देते वक्त या उसके बाद आपको कमजोरी के चलते चक्कर आने की संभावना कम होती है।
खाली पेट न रहें: ब्लड डोनेट करने के लिए जाने से पहले नाश्ता न छोड़ें। इसके अलावा रक्तदान के वक्त मिलने वाले स्नैक्स को भी जरूर खा लें। ये चीजें ब्लड डोनेट करते वक्त आपकी मदद करेंगी और बाकी दिनों के लिए भी आप अच्छा महसूस करेंगे।
ब्लड डोनेशन से पहले व्यायाम करें, बाद में नहीं: अगर आप फिटनेस फ्रीक हैं, तो ब्लड डोनेट करने से पहले अपना वर्कआउट सेशन पूरा कर लें। बाद में ऐसा करने से बचने की सलाह दी जाती है।
आयरन की गोलियां लें: अमेरिकन रेड क्रॉस सुझाव देता है कि जो लोग रक्तदान करते हैं वे अक्सर आयरन स्पलीमेंट्स या आयरन युक्त मल्टीविटामिन लें। टीनएजर्स को भी ब्लड डोनेट करने के बाद आयरन लेने की सलाह दी जाती है, क्योंकि ऐसा पाया गया है कि रक्तदान के बाद उनमें भी आयरन की कमी हो सकती है।