ये 3 एसेंशियल ऑयल बनेंगे कैंसर उपचार में फायदेमंद, जानें इनके प्रभाव

सर्दियों के दिनों में लोग एसेंशियल ऑयल का बहुत इस्तेमाल करते हैं जो कि सेहत के लिए भी फायदेमंद हैं। एक शोध से मिली जानकारी के मुताबिक़ एसेंशियल ऑयल कैंसर जैसी विक्राल बिमारी में भी सहायक हैं और सकारात्मक परिणाम देता हैं। एसेंशियल ऑयल पौधों से निकाले गए रस के तत्वों से बना होता है। भारत में बनाई जाने वाली आयुर्वेदिक दवाओं में एसेंशियल ऑयल का प्रयोग बहुत होता है। आज हम आपको कुछ ऐसे एसेंशियल ऑयल और उनके प्रभाव की जानकारी देने जा रहे हैं जो कैंसर की रोकथाम में प्रभावी हैं। तो आइये जानते हैं इनके बारे में।

लैवेंडर (lavender)

ज्यादातर लोगों की पहली पसंद लैवेंडर के तेल में कैंसर की रोकथाम के प्रभाव पहले ही साबित हो चुके हैं। लैवेंडर को एक शक्तिशाली प्राकृतिक एंटी-ऑक्सीडेंट के रूप में माना जाता है और ये साबित हो चुका है कि ये मुक्त कणों द्वारा पहुंचाई गई क्षति को ठीक करने में लाभकारी है। रोमानिया के शोधकर्ताओं ने पाया कि लैवेंडर में शक्तिशाली एंटी-ऑक्सीडेंट क्षमताएं होती हैं, जिसे हमें रोजाना एक घंटे तक सूघना चाहिए। अध्ययन के मुताबिक, लैवेंडर एसेंशियल ऑयल में मौजूद एंटी-ऑक्सीडेंट और एंटीएपोपटोटिक गुण चूहे के मस्तिष्क में तनाव को कम करने में बहुत फायदेमंद पाए गए हैं। मस्तिष्क में तनाव गंभीर बीमारी और कैंसर का कारण बन सकता है।

Health tips,health tips in hindi,cancer treatment,essential oils for cancer ,हेल्थ टिप्स, हेल्थ टिप्स हिंदी में, एसेंशियल ऑयल, कैंसर में प्रभावी एसेंशियल ऑयल

लेमनग्रास (Lemongrass)

2009 में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया कि लेमनग्रास एसेंशियल ऑयल में कैंसर-रोधी गुण होते हैं। शोधकर्ताओं ने बताया कि अध्ययन के परिणाम काफी आशाजनक थे, क्योंकि शोधकर्ताओं ने ऐसे विभिन्न तंत्रों की खोज की, जो कैंसर कोशिकाओं को खत्म करने में फायदेमंद साबित होती हैं। शोधकर्ताओं ने कहा, “हमारे परिणामों से आशाजनक संकेत मिलता है कि इस एसेंशियल ऑयल में एंटी कटी-कैंसर गुण होते हैं। इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोपी द्वारा पहचान की गई है कि य़े एसेंशियल ऑयल एपोप्टोटिक प्रक्रिया को सक्रिय कर ट्यूमर सेल की व्यवहार्यता में कमी का कारण बनता है।”

लोबान (Frankincense)

ये एसेंशियल ऑयल विभिन्न चिकित्सय उद्देशयों के लिए उपयोग किया जाता है। शोध से पता चलता है कि लोबान कैंसर कोशिकाओं को खत्म करता है और कीमोथेरेपी के विपरीत दूसरी गैर-कैंसर कोशिकाओं के स्वास्थ्य और उनके जीवन को बढ़ाने का काम करता है। दरअसल कीमोथेरेपी कैंसर और गैर-कैंसर कोशिकाओं दोनों को समान रूप से निशाना बनाती है। शोध में इस बात का भी खुलासा किया गया कि इस एसेंशियल ऑयल में एंटी-म्यूटाजेनिक और एपोप्टोटिक या प्रोग्राम्ड सेल डेथ क्षमताएं होती हैं। शोध में यह भी पाया गया है कि लोबान में न केवल एंटी-ट्यूमर गुण होते हैं बल्कि यह कीमोथेरेपी उपचार के दुष्प्रभावों को कम करने में भी मदद करता है।

Related Articles

Back to top button