फांसी पर लटकाने से पहले जल्लाद रस्सी को मुलायम करता है ताकि फंदा कहीं अटक न जाए….

Nirbhaya case Updates: दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट द्वारा डेथ वारंट जारी होने के बाद 22 जनवरी को होने वाली फांसी के मद्देनजर दिल्ली की तिहाड़ जेल में तैयारी तेज हो गई है। दिल्ली पुलिस की गुजारिश पर संभव हो यूपी पुलिस 17 जनवरी तक जल्लाद पवन तिहाड़ जेल पहुंच जाए। इसके बाद फांसी की प्रक्रिया को तेजी से अमल में लाया जाएगा। इससे पहले रविवार को चारों दोषियों को  फांसी का डमी ट्रायल भी किया गया। वहीं, बताया जा रहा है कि चारों दोषियों अक्षय ठाकुर, मुकेश सिंह, विनय कुमार शर्मा और पवन कुमार गुप्ता का जेल में व्यवहार असामान्य हो गया है, कई बार वे रोत भी देखे गए।

फंदे को मुलायम करने के कई तरीके

फांसी की पूरी प्रक्रिया में जल्लाद की भूमिका अहम होती है। जल्लाद फांसी से पहले सुनिश्चित करता है कि फांसी की पूरी प्रक्रिया जल्द से जल्द बिना किसी अवरोध के पूरा हो जाए। इस प्रक्रिया में फंदे की रस्सी का काम अत्यंत महत्वपूर्ण होता है। फांसी पर लटकाने से पहले जल्लाद रस्सी को मुलायम करने की कोशिश करता है ताकि फंदा कहीं अटक न जाए। जल्लाद अपने तरीके से फंदे में प्रयुक्त रस्सी को मुलायम बनाता है। कुछ जल्लाद रस्सी को मुलायम करने के लिए मक्खन या मोम का इस्तेमाल करते हैं तो कुछ इसके लिए पके केले का। पके केले को छीलकर उसे मथा जाता है, फिर उसे रस्सी पर लगाया जाता है। अंतिम बार रस्सी को जेल अधिकारी के समक्ष काले रंग के बक्से में रखकर सील कर दिया जाता है।

17 जनवरी तक जेल पहुंच जाएगा जल्लाद

डेथ वारंट जारी होने के बाद जेल अधिकारी अब उस वक्त क इंतजार कर रहे हैं, जब जल्लाद तिहाड़ पहुंच जाएगा। संभावना जताई जा रही है कि 17 जनवरी को जल्लाद तिहाड़ पहुंच जाएगा। जेल सूत्रों का कहना है कि अभी हो रहे ट्रायल को पूरा तभी माना जाएगा, जब जल्लाद खुद इस प्रक्रिया में मौजूद हो और फंदे पर लटकाने के लिए लीवर को दबाए। हालांकि जेल में इसके पूर्व दो अलग अलग मामलों में फांसी के दौरान जल्लाद की भूमिका जेल अधिकारी ने ही निभाई थी, लेकिन इस बार जेल प्रशासन यह स्पष्ट कर चुका है कि जल्लाद का इंतजाम किया जा रहा है।

जेल सूत्रों का कहना है कि भले ही उत्तर प्रदेश जेल विभाग की ओर से जल्लाद के इंतजाम के लिए सहमति मिल चुकी है, लेकिन जब तक जल्लाद जेल परिसर पहुंच नहीं जाता, तब तक कुछ भी नहीं कहा जा सकता। जेल सूत्रों का कहना है कि प्रशासन इस कोशिश में है कि जल्लाद हर हाल में 17 जनवरी तक तिहाड़ परिसर में अपनी उपस्थिति दर्ज करा दे। 17 को जल्लाद उपलब्ध कराने का अनुरोध उत्तर प्रदेश सरकार के अधिकारियों से भी किया गया है।

निर्भया के दोषियों की सुरक्षा हुई त्रिस्तरीय

निर्भया मामले में जेल संख्या-दो में बंद तीनों दोषियों की सुरक्षा को बढ़ाकर तीन स्तरीय कर दिया गया है। जेल में इनकी सुरक्षा तमिलनाडु स्पेशल पुलिस के कर्मी की 24 घंटे नजर रहती है। सूत्रों का कहना है कि एक सुरक्षाकर्मी की ड्यूटी छह घंटे से अधिक की नहीं हो सकती। जेल संख्या-दो में इसी तरह की सुरक्षा गैंगस्टर छोटा राजन व नीरज बवानिया के लिए भी है। इसी जेल में सीवान (बिहार) लोकसभा क्षेत्र का पूर्व सांसद शहाबुद्दीन भी बंद है।

जेल सूत्रों का कहना है कि डेथ वारंट जारी होने के बाद दोषियों की सुरक्षा को लेकर प्रशासन विशेष सतर्कता बरत रहा है। इस जेल में मुकेश, पवन व अक्षय बंद हैं। वहीं जेल संख्या-चार में बंद विनय की सुरक्षा को अभी त्रिस्तरीय नहीं किया गया है। हालांकि विनय के साथ एक जेलकर्मी हमेशा उसकी निगरानी में रहता है।

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