SBI बिना किसी चार्ज के देगा पांच लाख रुपये के डिपॉजिट इंश्योरेंस, वित्त मंत्री ने किया था ऐलान
देश का सबसे बड़ा बैंक SBI पांच लाख रुपये के डिपॉजिट इंश्योरेंस के लिए आम ग्राहकों को कोई चार्ज नहीं लेगा। यह भरोसा भारतीय स्टेट बैंक के चेयरमैन रजनीश कुमार ने दिया है। इसी महीने की शुरुआत में पेश बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बैंक में डिपॉजिट इंश्योरेंस की एक लाख रुपये की सीमा को बढ़ाकर पांच लाख रुपये करने की घोषणा की थी। मतलब अब अगर कोई बैंक फेल या दिवालिया हो जाता है तो पांच लाख रुपये तक की जमा राशि सरकार लौटाएगी। माना जा रहा था इस सीमा को एक लाख से पांच लाख करने पर बैंक ग्राहकों से इंश्योरेंस चार्ज वसूल कर सकता है।
SBI चेयरमैन ने किया स्पष्ट
कुमार ने शनिवार को एक कार्यक्रम में स्पष्ट किया कि एसबीआइ डिपोजिट इंश्योरेंस प्रीमियम बढ़ने पर अपने ग्राहकों से कोई चार्ज नहीं लेगा। उन्होंने बताया कि एसबीआइ पहले भी अपने ग्राहकों से डिपॉजिट इंश्योरेंस के नाम पर कोई चार्ज नहीं लेता था और आगे भी कोई चार्ज नहीं लिया जाएगा। बताते चलें कि जमा राशि पर इंश्योरेंस के लिए देश का सबसे बड़ा बैंक 3,000 करोड़ रुपये का भुगतान कर रहा था। अब सीमा बढ़ाए जाने के बाद बैंक को 36,000 करोड़ रुपये का भुगतान करना होगा।
एजीआर पर भी बोले कुमार
इससे पहले कुमार ने एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यू (AGR) को लेकर चल रही बहस के बीच कुमार ने शनिवार को कहा कि अगर एक भी दूरसंचार कंपनी दिवालिया हुई तो उसका अंजाम बैंकों को भुगतना पड़ेगा। देश के सबसे बड़े पब्लिक सेक्टर बैंक के प्रमुख ने यह बयान एजीआर पर सुप्रीम कोर्ट की सख्ती के बाद किया। कोर्ट के आदेश बाद टेलीकॉम सेक्टर के फ्यूचर को लेकर अनिश्चितता की स्थिति पैदा हो गई है। कुमार ने कहा कि सेक्टर की किसी भी कंपनी के बंद होने से समूचे सेक्टर पर बुरा असर देखने को मिलेगा।