महाराष्ट्र: अस्पताल में लगी भीषण आग, दस नवजात बच्चों की हुई मौत, सीएम उद्धव ने दिए…
महाराष्ट्र के भंडारा में शुक्रवार की देर रात सरकारी अस्पताल में आग लग गई. इस हादसे में 10 नवजात शिशुओं की मौत हो गई है. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने हादसे की जांच के आदेश दे दिए हैं. सीएम उद्धव ठाकरे ने स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे से भी बात की. सीएम ने भंडारा के जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक से भी बात कर हादसे के संबंध में जानकारी ली है.
वहीं, महाराष्ट्र के गृह मंत्री भी घटनास्थल के लिए रवाना हो गए हैं. गृह मंत्री विमान से नागपुर रवाना हुए, जहां से वे भंडारा जाएंगे. भंडारा पहुंचकर वे सरकारी अस्पताल का दौरा करेंगे और पुलिस अधीक्षक से बात कर घटना की प्रारंभिक रिपोर्ट लेंगे. भंडारा हादसे में 10 नवजात की मौत के बाद अब सरकार एक्शन मोड में आ गई है.
डिप्टी सीएम अजीत पवार ने हर अस्पताल के शिशु वार्ड में सेफ्टी ऑडिट के निर्देश दिए हैं. दूसरी तरफ, हादसे को लेकर भंडारा के जिलाधिकारी संदीप कदम ने कहा कि करीब 2 बजे रात में आग लगी जिसमें 10 नवजात शिशुओं की मौत हो गई. उन्होंने कहा कि हम 7 शिशुओं की जान बचाने में सफल रहे.
भंडारा के जिलाधिकारी ने कहा कि तकनीकी समिति यह जांच करेगी कि आग लगने की इस घटना के पीछे क्या वजह थी. इस हृदय विदारक हादसे पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह समेत कई नेताओं ने ट्वीट कर दुख व्यक्त किया है. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा है कि महाराष्ट्र के भंडारा में हुए अग्नि हादसे में शिशुओं की असामयिक मौत से गहरा दुख हुआ है. उन्होंने इस हृदय विदारक हादसे में अपनी नवजात संतान खोने वाले परिवारों के प्रति भी संवेदना व्यक्त किया है.
गृह मंत्री अमित शाह ने हादसे को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए गहरा दुख व्यक्त किया है. उन्होंने कहा है कि मेरी संवेदनाएं पीड़ित परिवारों के साथ हैं. ईश्वर पीड़ित परिवारों को शक्ति दें.
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी ट्वीट कर पीड़ित परिवारों के प्रति संवेदना और हादसे पर दुख जताया है. फडणवीस ने हादसे की जांच करा दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है.
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी ट्वीट कर पीड़ित परिवारों के प्रति संवेदना और हादसे पर दुख जताया है. फडणवीस ने हादसे की जांच करा दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है.
गौरतलब है कि भंडारा के सरकारी अस्पताल में जिस समय आग लगी, 17 नवजात बच्चे वार्ड में थे. हादसे में 10 बच्चों की जान चली गई. 7 बच्चों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया था.