यूपी में ऑक्सीजन को लेकर CM योगी ने दिए सख्त निर्देश
लखनऊ: केजीएमयू, बलरामपुर अस्पताल को पूर्णतया कोविड अस्पताल बना दिया गया है। ऐसे में अब यहाँ लगभग पांच हजार आसीयू बेड रखने का लक्ष्य रखा गया है। आप सभी को बता दें कि प्रदेश में आक्सीजन नियंत्रित करने के लिए कन्ट्रोल रूम बनाये जा चुके है, ऐसे में आक्सीजन की किसी भी प्रकार की कमी नहीं है, लेकिन आक्सीजन की व्यवस्था निरन्तर की जा रही है। अब एक नया साफ्टवेयर लगाया गया है जिसके माध्यम से अस्पतालों को कब और कैसे कितनी आक्सीजन जा रही है।
अब इस साफ्टवेयर के माध्यम से लोकेशन को ट्रैक किया जाएगा और ऐसी स्थिति नहीं आने दी जा रही है कहीं भी आक्सीजन की वजह से कहीं किसी मरीज को परेशानी का सामना करना पड़े। आप जानते ही होंगे कि कुछ लोगों द्वारा इसे अफवाह बनाकर सोशल मीडिया पर पैनिक फैलाने की कोशिश की जा रही है। यह देखते हुए सरकार इस पर भी नजर रख रही है। सरकार ने सभी से अपील की है कि ”हर किसी को अलग से आक्सीजन की आवश्यकता नहीं होती है। लगभग 95 प्रतिशत से ज्यादा मरीजों को आक्सीजन की आवश्यकता नहीं होती है।”
हाल ही में मिली जानकारी के तहत प्रदेश में कैडिला से रेमेडेसिविर के 18000 इंजेक्शन प्राप्त हो गए हैं कल भी दूसरी कम्पनी से भी रेमडेसिविर के इंजेक्शन प्राप्त हुए थे। अब प्रदेश में रेमडेसिविर के इंजेक्शन समुचित मात्रा में उपलब्ध है। इसके अलावा यह भी कहा जा रहा है कि प्रदेश में टैंकरों को रेल के माध्यम से आक्सीजन लाने की प्रक्रिया प्रारम्भ की गई है। वहीँ खाली टैंकरों को वायुयान से बोकारो/जमशेदपुर में उतारा जा रहा है। प्रदेश में आक्सीजन, जीवन रक्षक दवाइयों की सूचारू उपलब्धता सुनिश्चित करायी जा रही है।