पीएम मोदी की विदेश यात्रा का दूसरा दिन, मालदीव के बाद आज श्रीलंका पहुंचेंगे

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने दो दिवसीय विदेश दौरे के अंतिम दिन आज श्रीलंका पहुंचेंगे. रविवार सुबह करीब 11 बजे पीएम मोदी यहां पहुंचेंगे. पीएम मोदी ईस्टर के दौरान श्रीलंका में हुए बम विस्फोट के बाद यहां पहुंचने वाले पहले विदेशी राष्ट्राध्यक्ष है.

पीएम मोदी के इस यात्रा के दौरान भारत और श्रीलंका के बीच आतंकवाद, निवेश समेत कुई मुद्दों पर चर्चा हो सकती है.प्रधानमंत्री मोदी की यह तीसरी श्रीलंका यात्रा है. इससे पहले उन्होंने 2015 और 2017 में श्रीलंका की यात्रा की थी. श्रीलंका में पीएम मोदी का काफी व्यस्त शेड्यूल है. पीएम मोदी 11 बजे सुबह कोलंबों के भंडारनायके अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पहुंचेंगे.

12 बजकर 5 मिनट पर राष्ट्रपति के सचिवालय में उनका आधिकारिक स्वागत किया जाएगा. 12 बजकर 25 मिनट पर पीएम मोदी राष्ट्रपति भवन में वृक्षारोपण करेंगे. इसके बाद श्रीलंका के राष्ट्रपति मैत्रीपाला सिरिसेना के साथ उनकी बैठक है. 12 बजकर 40 मिनट पर श्रीलंका के राष्ट्रपति के साथ के साथ पीएम दिन का खाना खाएंगे. दोपहर एक बजकर 35 मिनट पर पीएम मोदी श्रीलंका के नेता विपक्ष के साथ मुलाकात करेंगे.

इसके बाद मोदी श्रीलंका की तमिल नेशनल एलायंस के नेताओं के साथ मुलाकात करेंगे. 2 बजकर 5 मिनट पर पीएम मोदी एक और कार्यक्रम में शिरकत करेंगे. 3 बजे वे भारत के लिए रवाना हो जाएंगे. राष्ट्रपति सिरिसेना के कार्यालय ने कहा, ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कुछ घंटों के लिए रविवार को कोलंबो पहुंचेंगे. पुनर्निर्वाचित भारतीय नेता मालदीव से यहां आएंगे.’

इससे पहले शनिवार को मालदीव पहुंचे थे. नरेंद्र मोदी ने मालदीव की संसद में आतंकवाद को लेकर बिना नाम लिए पाकिस्तान पर जमकर हमला बोला था. उन्होंने कहा था कि पानी अब सिर के ऊपर से जा रहा है. अब भी कुछ लोग गुड टेररिस्ट और बैड टेररिस्ट में फर्क करने की गलती कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि आतंकवाद मानवता के लिए सबसे बड़ा खतरा है.

पीएम मोदी ने कहा कि इससे निपटना बड़ी चुनौती है. हमने इसे चुनौती के रूप में नहीं लिया तो आने वाली पीढ़ियां हमें माफ नहीं करेंगी. उन्होंने कहा था कि आतंकवादियों के न तो अपने बैंक होते हैं और ना ही हथियारों की फैक्टरी, फिर भी उन्हें पैसे और हथियारों की कभी कमी नहीं होती. पीएम मोदी ने पाकिस्तान पर निशाना साधते हुए कहा था कि आज राज्य प्रायोजित आतंकवाद सबसे बड़ा खतरा बना हुआ है.

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