राहत व बचाव नाकाफी, अब गिराए जाएंगे फूड पैकेट्स
बिहार में 60 घंटे की लगताार आफत की बारिश के बाद अब राहत के आसार हैं। राज्य में फिलहाल बारिश का खतरा टल गया है। पटना सहित कई जगहों पर मौसम साफ होता दिख रहा है। इस बीच पहले की बारिश के कारण जलमग्न इलाकों में राहत व बचाव कार्य तेज हो गए हैं। राहत व बचाव में मदद के लिए केंद्र सरकार ने वायुसेना के दो हेलीकॉप्टर उपलब्ध करा दिए हैं। भारी बारिश के कारण बिगड़ी पटना की स्थिति का जायजा आज उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने लिया।
– राहत व बचाव के उपाय नाकाफी, एनडीआरएफ व एसडीआरएफ के राहत व बचाव से असंतुष्ट हैं लोग।
– पटना के प्रभावित इलाकों में छतों पर राहत की आस में आसमान पर नजर टिकाए लोग। वायुसेना के दो हेलीकॉप्टर पहुंचे पटना। इनकी मदद से थोड़ी देर में प्रभावित इलाकों में गिराए जाएंगे फूड पैकेट।
– भारी बारिश के कारण बिगड़ी पटना की स्थिति का उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने जायजा लिया। साथ में डीएम भी थे।
– भारी बारिश से बिगड़ी पटना की स्थिति पर जेडीयू के राष्ट्रीय महासचिव का बयान: इसके लिए मुख्यमंत्री नीतीश्ा कुमार नहीं हैं। यह जलवायु परिवर्तन का नतीजा है।
– पटना में बिगड़े हालात पर खूब होने लगी राजनीति। आरजेडी सासंद मनोज झा बोले: अलर्ट के बावजूद लापरवाह रही सरकार। प्राकृतिक आपदा में मानवीय भूल मिल जाने से स्थिति बिगड़ी।
– पटना पहुंचे वायुसेना के दो हेलीकॉप्टर। इनकी मदद से थोड़ी देर में प्रभावित इलाकों में गिराए जाएंगे फूड पैकेट।
– भारी बारिश के कारण बिगड़ी पटना की स्थिति का उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने जायजा लिया। साथ में डीएम भी थे।
– भारी बारिश से बिगड़ी पटना की स्थिति पर जेडीयू के राष्ट्रीय महासचिव का बयान: इसके लिए मुख्यमंत्री नीतीश्ा कुमार नहीं हैं। यह जलवायु परिवर्तन का नतीजा है।
जगह-जगह जन-जीवन बुरी तरह प्रभावित
विदित हो कि भारी बारिश के कारण पटना सहित बिहार में जगह-जगह जन-जीवन बुरी तरह प्रभावित हो गया है। सड़क व रेल यातायात भी प्रभावित हुए हैं। पूरे बिहार में अब तक बाढ़ और बारिश के कारण 29 लोगों की जानें चलीं गईं हैं। उधर, गंगा समेत सभी छोटी-बड़ी नदियां उफान पर हैं।
पटना में याद आई 1975 की बाढ़
पटना में करीब 45 साल बाद ऐसा जल-जमाव देखने को मिला है। इसने 1975 की बाढ़ की याद दिला दी है, जब पटना डूब गया था। सड़काें पर नाव चल रही है और लोग घरों के घरों तथा अस्पतालों तक में पानी घुस गया है।
पटना के राजेंद्रनगर, कंकड़बाग, लंगर टोली, बहादुरपुर, गर्दनीबाग, सरिस्ताबाद, चांदमारी रोड, पोस्टल पार्क, इंदिरानगर, संजय नगर, अशोक नगर, बोरिंग रोड, पाटलिपुत्र कॉलोनी, श्रीकृष्णापुरी, राजीवनगर, रामकृष्णानगर, संदलपुर, दीघा व कुर्जी आदि इलाकों में जगह-जगह जल-जमाव हो गया है। हालत यह हो गई है कि कई जगह जिला प्रशासन की ओर से नौका परिचालन किया जा रहा है।
पटना में रहने वाले मंत्रियों के घरों में भी पानी घुस गया है। राजेंद्र नगर स्थित राज्य के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी और नागेश्वर कॉलोनी स्थित भाजपा सांसद राजीव प्रताप रूडी के घरों में दो से तीन फीट तक बारिश का पानी घुस गया है। नेताजी मार्ग स्थित नंदकिशोर यादव, मंत्री प्रेम कुमार आदि के सरकारी आवास भी पानी में डूबे हैं। शिक्षा मंत्री कृष्ण नंदन वर्मा, विधान परिषद के कार्यकारी सभापति हारुण रशीद तथा परिवहन मंत्री संतोष निराला के घर में भी पानी है। नगर विकास मंत्री सुरेश शर्मा, जिनपर नगर की साफ-सफाई, जन-निकासी और विकास की जिम्मेदारी है, के घर में भी पानी घुस गया है।
चिकित्सा व्यवस्था पर पड़ा असर
जल-जमाव के कारण पटना में चिकित्सा व्यवस्था पर असर पड़ा है। पटना मेडिकल कॉलेज व अस्पताल (पीएमसीएच) में पानी भर गया है। अस्पताल के मेडिसिन वार्ड तक में पानी घुसा हुआ है। यही हाल पटना के दूसरे बड़े अस्पताल नालंदा मेडिकल कॉलेज व अस्पताल (एनएमसीएच) का भी है। वहां वार्ड में पानी भर गया है। मरीजों का इलाज उसी हालत में हो रहा है। इस कारण अस्पतालों में डॉक्टरों व अन्य स्वास्थ्यकर्मियों के मरीजों तक पहुंचने में भी परेशानी हो रही है।