झांसी से रही उन्नाव पर सीएम योगी आदित्यनाथ की नजर, डैमेज कंट्रोल में जुटे रहे…
उन्नाव की दुष्कर्म पीड़िता को जिंदा जलाकर मार डालने की घटना से बैकफुट पर आई सरकार ने हमलावर विपक्ष को सीधे जवाब नहीं दिया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार को लखनऊ से कानपुर और फिर झांसी गए, लेकिन व्यस्त कार्यक्रम के बावजूद उन्नाव के घटनाक्रम पर निगाह जमाए रहे और पल-पल की जानकारी लेते रहे।
उन्नाव में पीड़िता पर जिंदा जलाने की घटना को लेकर प्रदेशभर में निराशा व गुस्से का माहौल है। शनिवार सुबह जब उन्नाव की दुष्कर्म पीड़िता की मौत की खबर मीडिया में आई तो उबाल आ गया। सियासत भी गरमा गई। समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव धरने पर बैठ गए। कांग्रेस सड़क पर उतर आई, तो प्रियंका गांधी पीड़िता के घर पहुंच गईं। बसपा सुप्रीमो मायावती ने भी सरकार पर प्रहार तेज कर दिए, लेकिन भाजपा की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कानपुर के बाद दोपहर झांसी आ गए।
झांसी में मुख्यमंत्री का बेहद व्यस्त कार्यक्रम था। इतनी व्यस्तता के बावजूद मुख्यमंत्री उन्नाव की घटना पर नजर जमाए रहे। जब भी मौका मिला, उन्होंने घटनाक्रम की जानकारी ली। वहीं से दो मंत्रियों और उन्नाव सांसद को पीड़िता के घर भेजा। उन्नाव डीएम के माध्यम से 25 लाख रुपये का चेक पीड़िता के परिवार को दिलाया। घटना को लेकर डैमेज कंट्रोल में जुटे मुख्यमंत्री ने विपक्ष के सियासी हमले पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। मीडिया ने कई बार मुख्यमंत्री से सवाल पूछने की कोशिश की, लेकिन हर बार वह बचते नजर आए।
दोषियों को दिलाएंगे कड़ी सजा : योगी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्नाव दुष्कर्म पीडि़ता के साथ हुई घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। उन्होंने कहा कि बालिका की मौत अत्यंत दुखद है। पीड़िता के परिवार के प्रति उन्होंने पूरी संवेदना व्यक्त की। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस कांड के सभी अपराधी पुलिस द्वारा गिरफ्तार किये जा चुके हैं। सरकार मुकदमे को फास्ट ट्रैक कोर्ट में ले जाकर अपराधियों को कड़ी सजा दिलाएगी। मुख्यमंत्री ने प्राविधिक शिक्षा मंत्री व उन्नाव की प्रभारी मंत्री कमल रानी वरुण और श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य को उन्नाव जाकर पीड़िता के परिवारीजन से मुलाकात कर उन्हें ढांढस बंधाने का निर्देश दिया। कानून मंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि इस मामले में आरोपपत्र दाखिल होते ही केस को फास्ट ट्रैक कोर्ट में ले जाया जाएगा। यह सुनिश्चित कराया जाएगा कि मामले की दिन-प्रतिदिन सुनवाई हो और आरोपितों को जल्द से जल्द सजा मिले।