जानें नागदेवता से जुड़े कुछ खास रहस्य, जिन्हें जानना है जरूरी
शिव जी की स्तुति में भुजगेंद्रहारम कहा जाता है, जिसका अर्थ होता है अपने गले में नाग धारण करने वाले शिव जी। शिव जी के सांप का नाम वासुकि है। नाग देवता को पंचमी तिथि का स्वामी कहा जाता है और हर साल नागपंचमी का त्यौहार भी पूरा देश मनाता है। इस बार यह त्यौहार शनिवार, 25 जुलाई को मनाया जाना है। लोगों के बीच में सांप से जुड़े कुछ अन्धविश्वास भी व्याप्त है और इसी को देखते हुए हम एक ख़ास ख़बर आपको बताने जा रहे हैं। इसमें आप जानेंगे कि सांप से जुड़ें मिथक और सच्चाई क्या है ?
– लोग मानते हैं कि सांप को दूध पिलाना पुण्य का काम होता है और वे इससे प्रसन्न होते हैं। जबकि वास्तव में ऐसा नहीं है। सांप को दूध कतई भी नहीं भाता है। बल्कि यह उनके लिए नुकसानदायक साबित हो सकता है। कभी-कभी दूध उनके फेफड़ों में पहुंचने से उनकी मृत्यु तक भी हो सकती है।
– लोगों को लगता है कि सांप मांस का सेवन नहीं करते हैं, हालांकि सच यह है कि विज्ञान ने बताया है कि सांप पूर्णतः मांसाहारी जीव होते हैं।
– एक मिथक यह भी है कि सांप इच्छाधारी होते हैं और आपने कई हिंदी फिल्मों में भी ऐसा देखा होगा। लेकिन सच में विज्ञान की दृष्टि से ऐसा नहीं होता है।
– सांपों के बारे में यह भी अक्सर सुनने को मिलता है कि सर्प के पास मणि भी होती है और वह उनके सिर पर लगी होती है। हालांकि जीव विज्ञान इसे भी नकारता है। उसके मुताबिक़, ऐसी कोई जानकारी अब तक सामने नहीं आई है।