ख़राब चीनी टेस्ट किट पर स्वीडन का फुटा गुस्सा, 3700 कोरोना संक्रमित बाद में निकले स्वस्थ

चीन (China) की खराब कोरोना टेस्ट किट (Coronavirus Test kit) के चलते स्वीडन (Sweden) को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. स्वीडन की पब्लिक हेल्थ एजेंसी ने बुधवार को कहा कि जांच में सामने आया है की चायनीज टेस्ट किट की खराबी के चलते 3700 ऐसे लोगों को कोरोना पॉजिटिव मानकर इलाज शुरू कर दिया गया जो कि एकदम स्वस्थ थे. किट रिजल्ट के चलते ये सभी अस्पतालों में कोरोना संक्रमण के प्रति और एक्सपोज हो गए.

स्वीडन ने बताया कि पब्लिक हेल्थ एजेंसी के नियमित क्वालिटी चेक में ये बात सामने आई है की 3700 ऐसे लोगों का इलाज चल रहा रहा जो असल में कोरोना पॉजिटिव थे ही नहीं. डेली मेल की खबर के मुताबिक चीन ने मंगाई गयी PCR किट खराब थीं और हर किसी का रिजल्ट पॉजिटिव ही दे रहीं थीं. ये किट चीन की कंपनी BGI Genomics से मंगाई गयी थी जो की ज्यादातर देशों में कोरोना टेस्ट किट सप्लाई कर रही है. इन लोगों में लक्षण नहीं थे लेकिन पॉजिटिव रिजल्ट आने के बाद ए-सिम्पटोमेटिक मानकर इनका इलाज चल रहा था. इन किट के जरिये स्वीडन ने मार्च से लेकर अगस्त तक टेस्ट किये हैं और कोरोना मरीजों का आंकड़ा भी इससे मिले रिजल्ट के आधार पर ही है. ऐसे में हेल्थ एजेंसी अब सभी मामलों की जांच करने के बारे में सोच रही है.

हर बुखार, जुकाम वाले को बताया पॉजिटिव
स्वीडन ने बताया की ये टेस्ट किट कोरोना से मिलते-जुलते लक्षण वाले हर व्यक्ति को पॉजिटिव बता रहीं हैं. हर वह शख्स पॉजिटिव पाया गया जिसे बुखार या जुकाम था, जबकि इसकी वजह कुछ और भी हो सकती हैं. अब एजेंसी सभी संक्रमित व्यक्तियों से संपर्क साधने की कोशिश कर रही है जिससे सही स्थिति का पता लगाया जा सके. हेल्थ एजेंसी ने कहा है कि इस जांच के बाद देश में कोरोना केस के नम्बर्स में भी संशोधन किया जाएगा. स्वीडन ने कहा की इस किट की खराबी को लेकर यूरोपीयन यूनियन की हेल्थ एजेंसी और WHO को भी जानकारी दे दी गयी है. स्वीडन में अभी तक 86,891 कोरोना के मामले सामने आ चुके हैं जबकि 5,814 लोगों की इससे मौत हो चुकी है.

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