इलेक्ट्रिक व्हीकल्स पॉलिसी को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए दिल्ली सरकार ने उठाया बड़ा कदम

दिल्ली सरकार ने दिल्ली इलेक्ट्रिक व्हीकल्स पॉलिसी को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए दिल्ली ईवी फोरम की शुरुआत की है। दिल्ली सरकार की ओर से आरएमआइ इंडिया के सहयोग से डायलॉग एंड डेवलपमेंट कमीशन (डीडीसीडी) दिल्ली ईवी फोरम की मेजबानी करेगा। मालूम हो कि दिल्ली सरकार ने इलेक्ट्रिक वाहन पॉलिसी 7 अगस्त 2020 को अधिसूचित की थी। इसका उद्देश्य 2024 तक दिल्ली में नए वाहनों की बिक्री में 25 फीसद  इलेक्ट्रिक वाहनों की हिस्सेदारी करना है।

बता दें कि ईवी पालिसी राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली क्षेत्र में इलेक्ट्रिक वाहनों को तेजी से बढ़ाने की दिशा में व्यापक रणनीति तैयार करती है। जिसके तहत वित्तीय प्रोत्साहन, गैर-वित्तीय प्रोत्साहन, चार्जिंग के बुनियादी ढांचे को सक्षम बनाने, सार्वजनिक जागरूकता को बढ़ाने और हरित अर्थव्यवस्था का निर्माण करने संबंधी पांच मुख्य आधार हैं।

इस अवसर पर डीडीसीडी के उपाध्यक्ष जस्मीन शाह ने कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के दिल्ली को देश की इलेक्ट्रिक वाहन की राजधानी बनाने के विजन को साकार करने के लिए ओईएम, फ्लीट ऑपरेटरों, चार्जिंग एनर्जी ऑपरेटरों आदि हितधारकों की भागीदारी की आवश्यकता है। दिल्ली ईवी फोरम हितधारकों के बीच आवश्यक संवाद स्थापित करने का मंच प्रदान करेगा। जस्मीन शाह ने कहा कि इस पॉलिसी को लागू करने के लिए हितधारकों की चिंता और सुझाव महत्वपूर्ण हैं।

उन्होंने कहा कि दिल्ली ईवी पालिसी को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए दिल्ली ईवी फोरम पर उनके ऊपर पारदर्शी तरीके से चर्चा कर एक संयुक्त रोडमैप तैयार करने का सबसे अच्छा तरीका है। यह उस परंपरा को भी आगे बढ़ाएगा, जिस तरह से सभी हितधारकों के साथ व्यापक विचार-विमर्श और चर्चाओं के बाद दिल्ली ईवी नीति का मसौदा तैयार किया गया था। शाह ने कहा कि हमें खुशी है कि दिल्ली ईवी फोरम भारत में पहला ऐसा मंच होगा, जिसमें राज्यव्यापी इलेक्टि्रक वाहन नीति को लागू करने के लिए हितधारकों के साथ निरंतर संवाद और जुड़ाव रखा जाएगा। दिल्ली ईवी फोरम लगातार तिमाही बैठकों के माध्यम से दिल्ली ईवी नीति को लागू करने की दिशा में हितधारकों के साथ लगातार जुड़ने का एक मंच प्रदान करेगा।

इलेक्ट्रिक वाहन तंत्र अपेक्षाकृत अभी नया है और अभी भी विकास के प्रारंभिक चरणों में है। दिल्ली ईवी नीति को लागू करने के शुरुआती चरणों में परामर्श और हितधारक के बीच चर्चा महत्वपूर्ण साबित होने की उम्मीद है। इसलिए इन कार्यशालाओं में थिंक-टैंक, सिविल सोसाइटी ऑर्गेनाइजेशन, मूल उपकरण निर्माता, चार्जिंग ढ़ांचा प्रदाता, फ्लीट-एग्रीगेटर्स, प्रथम और अंतिम मील सेवा प्रदाता, अन्य मोबिलिटी सर्विस प्रोवाइडर्स और सरकारी एजेंसियों को भाग लेने के लिए आमंत्रित किया जाएगा।

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