अमेजन के जंगलों में लगी आग बुझाने के लिए भेजी गई सेना, यूरोपीय नेताओं का दबाव आया काम

ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोलसोनारो ने सेना को अमेजन के जंगलों में लगी आग से निपटने में मदद करने के आदेश दिए हैं. बीबीसी ने शनिवार को बताया कि बोलसोनारो द्वारा जारी फरमान में प्रशासन को सीमाई, आदिवासी और संरक्षित इलाकों में सेना की तैनाती करने के लिए कहा गया है. यूरोपीय नेताओं के दबाव के बाद यह घोषणा सामने आई है.

गौरतलब है कि फ्रांस और आयरलैंड ने कहा था कि वे तब तक दक्षिणी अमेरिकी देश के साथ व्यापार सौदे को मंजूरी नहीं देंगे जब तक कि वह अमेजन में लगी आग से निपटने के लिए कुछ नहीं करता.

फिनलैंड के वित्त मंत्री ने भी यूरोपीय संघ से ब्राजील के बीफ आयात पर प्रतिबंध लगाने के बारे में विचार करने के लिए कहा है. पर्यावरण समूहों ने आग से निपटने की मांग करते हुए शुक्रवार को ब्राजील के कई शहरों में प्रदर्शन किए.

लंदन, बर्लिन, मुंबई और पेरिस सहित दुनिया भर में ब्राजील के दूतावासों के बाहर भी सैकड़ों प्रदर्शनकारी एकत्र हुए. प्रदर्शनकारी लॉरा विलारेस हाउस (33) ने बीबीसी ब्राजील को बताया, “हम यहां लंदन में भी आसमान काला होने देने के लिए खड़ा होकर इंतजार नहीं करेंगे.”

दुनिया के सबसे बड़े वर्षावन अमेजन को ऑक्सीजन के मुख्य स्रोत के रूप में जाना जाता है.

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने गुरुवार को ट्वीट किया, “वैश्विक जलवायु संकट के बीच, हम ऑक्सीजन और जैव विविधता के एक प्रमुख स्रोत का अधिक नुकसान नहीं सहन कर सकते. अमेजन को संरक्षित किया जाना चाहिए.”

बोलसोनारो ने कहा है कि उनकी सरकार के पास क्षेत्र में बड़े पैमाने पर लगी आग से निपटने के लिए संसाधनों की कमी है. लेकिन संरक्षणवादियों ने अमेजन की दुर्दशा के लिए उनकी सरकार को दोषी ठहराया है.

इन लोगों का कहना है कि बोलसोनारो ने लकड़हारों और किसानों को भूमि के सफाये के लिए प्रोत्साहित किया है, जिससे वर्षावनों की कटाई में तेजी आई है.

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