भाजपा के विधायक ने एक बार फिर सरकारी काम में कमीशन तथा भ्रष्टाचार का लगाया आरोप
महामारी कोरोना वायरस के संक्रमण काल में भी चर्चा का विषय बने भारतीय जनता पार्टी के विधायक श्याम प्रकाश ने एक बार फिर सरकारी काम में कमीशन तथा भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है. श्याम प्रकाश ने इससे पहले भी अपनी विधायक निधि का दुरुपयोग होने का आरोप लगाकर कोविड-19 सीएम फंड में दी गई धनराशि वापस मांगी थी.
आपकी जानकारी के लिए बता दे कि हरदोई जिले के गोपामऊ से भारतीय जनता पार्टी के विधायक श्याम प्रकाश ने सोशल मीडिया पर मनरेगा में चल रहे काम में कमीशन और भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं. उन्होंने फेसबुक पर अपनी पोस्ट में सवाल उठाए हैं. विधायक श्याम प्रकाश ने मनरेगा पर कहा कि बिना कमीशन कोई भी स्टीमेट पास नहीं होता है. उन्होंने कहा कि अफसर घूस लेना छोड़ दे, तो प्रधान भी सुधर जाएंगे. यहां पर तो बिना घूस के कलम नहीं चलती, वर्षों तक मजदूरों का रुपया नहीं आता है. उनके निशाने पर अधिकारी हैं.
इसके अलावा हरदोई की गोपामऊ विधान सभा क्षेत्र से विधायक श्याम प्रकाश ने अपनी फेसबुक आइडी पर की गई पोस्ट में मनरेगा में कमीशन और भष्टाचार की बात कही है. उन्होंने लिखा कि मनरेगा गरीब मजदूरों के पसीने की कीमत है. यहां पर प्रधान फर्जी भुगतान को मजबूर हैं, क्योंकि मस्टर रोल और स्टीमेट से ही प्रधान को कमीशन देने की शुरुआत करनी पड़ती है.यदि अधिकारी केवल गरीबों के हित का ध्यान में रखकर इस योजना में कमीशन लेना छोड़ दें और फिर सख्त कार्रवाई करें तो भ्रष्टाचार रुक सकता है. यह भी याद रखना चाहिए कि इसमें सड़कें बनवाने के विवाद में प्रधानों को अपनी जान तक देनी पड़ती है. हम जानते है कि फेसबुक पर कमेंट करना तो बहुत आसान है, किंतु प्रधानों की समस्याएं समझना मुश्किल है.